पीरियड्स के इस दिक्कत को न समझें मामूली, ब्लड कैंसर का है संकेत

कल्याण आयुर्वेद - पीरियड के दौरान लड़कियों को कई तरह की समस्याओं को झेलना पड़ता है. कभी-कभी हम जिन लक्षणों को आम समझकर नजरअंदाज कर देते हैं, वह हमारे लिए जानलेवा भी साबित हो जाते हैं. खासकर इस मामले में महिलाएं सबसे आगे होती है. वह हर महीने होने वाले पीरियड्स में ऐसी कई समस्याएं हैं, जिन्हें मामूली समझकर नजरअंदाज कर देती हैं. परंतु ऐसा नहीं करना चाहिए. ऐसा करना उनके लिए खतरनाक हो सकते हैं. आज के पोस्ट में हम आपको पीरियड्स के दौरान होने वाले एक ऐसे दिक्कत के बारे में बताएंगे जिसे कभी भी इग्नोर नहीं करना चाहिए. यह ब्लड कैंसर का संकेत हो सकता है. इसके साथ ही हम आपको एक महिला के बारे में बताएंगे जिनके साथ यह घटना घटी.

पीरियड्स के इस दिक्कत को न समझें मामूली, ब्लड कैंसर का है संकेत 

तो चलिए जानते हैं विस्तार से -

पीरियड्स के दौरान किस दिक्कत को नहीं करना चाहिए इग्नोर -

चलिए सबसे पहले हम आपको बता दें, पीरियड के दौरान हेवी ब्लीडिंग को इग्नोर नहीं करना चाहिए. जी हां यदि आपको हैवी पीरियड की समस्या रहती है, तो इसे इग्नोर ना करें. डॉक्टर का कहना है कि महिलाओं को कभी भी हेवी पीरियड्स को नजरअंदाज नहीं करना चाहिए. क्योंकि यदि आप शुरुआत में इस पर ध्यान नहीं देते हैं तो धीरे-धीरे आपके हाथों और पैरों में समस्याएं होने लगती है. साथ ही स्किन का कलर भी बदलने लगता है. पीरियड के दौरान बेहोश होने की सम्भावना भी बढ़ जाती है. ऐसे में यह सभी ब्लड कैंसर का लक्षण हो सकते हैं.

चलिए जानते हैं उस महिला के बारे में -

इंग्लैंड में रहने वाली एक महिला की कहानी अन्य महिलाओं के लिए एक सबक है. जिसने अपनी सूझबूझ के चलते अपनी जान बचा ली. 19 साल की महिला जिनका नाम कैथरीन हॉक्स, को हेवी पीरियड्स की समस्या रहती थी. वह अपने माता-पिता से दूर एक दूसरे शहर में रहकर पढ़ाई करती थी. एक दिन उन्हें बहुत थका थका हुआ महसूस होने लगा और वह अचानक बेहोश हो गई. आखिरकार उन्होंने अपनी शर्मिंदगी को किनारे कर हेवी पीरियड्स की समस्या को लेकर डॉक्टर से मिलने का फैसला किया. उनके इस फैसले ने उनकी जान बचा ली. डॉक्टर ने बताया कि वह ब्लड कैंसर से पीड़ित है और अगले एक हफ्ते की भी देरी होती है तो उनकी जान जा सकती है.

उनका हेवी पीरियड्स एक्यूट प्रोमायलोसाइटिक ल्यूकोमा का लक्षण था, जो तेजी से ब्लड कैंसर में बदलता है. पहले तो उन्होंने जनरल फिजीशियन के नियमित जांच के लिए उनका ब्लड टेस्ट किया और कहा कि उन्हें कुछ दिनों में रिजल्ट मिल जाएगा. हालांकि फिर उसी शाम को उन्हें फोन आया, कि वह बहुत ज्यादा एनीमिक है और उन्हें जल्दी हॉस्पिटल जाने की जरूरत है.

घबराई हुई कैथरीन अपने दो हाउसमेट के साथ पास के हॉस्पिटल में गए वहां के डॉक्टर ने उन्हें बताया, कि उन्हें ल्यूकेमिया है और उसे तुरंत ट्रीटमेंट शुरू करानी होगी. APL तब होता है जब बोन मैरो बहुत ज्यादा अपरिपक्व सफेद रक्त कोशिकाओं को बनाने लगती है. इसकी वजह से शरीर में अन्य स्वास्थ्य रक्त कोशिकाएं बनने के लिए पर्याप्त जगह नहीं मिल पाती है और शरीर में इनकी कमी हो जाती है. लाल रक्त कोशिकाएं पूरे शरीर में ऑक्सीजन पहुंचाने का काम करती है और इसकी कमी के कारण सांस लेने में तकलीफ और सुस्ती की समस्या हो जाती है. यह प्लेटलेट की कमी का संकेत देती है.

डॉक्टर के अनुसार थकान और स्कीम से जुड़ी दिक्कतों के साथ हेवी पीरियड्स आना एपीएल का एक प्रमुख लक्षण है. इसके साथ ही नाक और मसूड़ों से खून आना और असामान्य रूप से पीरियड में अचानक बदलाव आना एक चेतावनी का संकेत है.

यदि आपको भी अपने शरीर में ऐसे लक्षण देखने को मिलते हैं और पीरियड्स के दौरान ऐसी समस्या रहती है, तो इसे इग्नोर ना करें. यह आपके लिए खतरनाक साबित हो सकती है. साथ ही ब्लड कैंसर का कारण बन सकती है.

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